Sanchore news: सांचौर.शहर में विचरण करने वाले आवारा पशुओं की तादाद लगातार बढ रही है, लेकिन नगर परिषद द्वारा कोई कार्यवाही नहीं होने से लोगों को परेशानी हो रही है। शहर की सड़कों पर विचरण करने वाले बेसहारा पशु अब लोगों को चोटिल करने लगे है। शहर के जीनगर कॉलेनी के रहने वाले सुरेश कुमार पुत्र श्यामलाल जीनगर पर बेसहारा पशु ने हमला कर दिया। जिससे उसका हाथ टूट गया। अब लोगों ने नगर परिषद से बेसहरा नंदियों को शहर से बाहर शिफ्ट करने की मांग की है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है। इतना ही नहीं मुख्य बाजार व चौराहों पर खड़े रहने वाले पशुओं के आपस में भिडऩे से राहगीर भी चोटिल हो रहे है। जिसकी जानकारी नगर परिषद व प्रशासन को होने के बावजूद कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। रात्रि होते ही यह पशु शहर के मुख्य मार्गो की ओर जाने वाली सड़कों पर डेरा जमा लेते है, ऐसे में शहर में विचरण करने वाले बेसहारा पशु लोगो की जान पर आफत बन रहे है। शहर के मुख्य मार्गो व चौराहों पर पशुओं का इस कदर जमावड़ा रहता है कि आम आदमी आसानी से सड़क पार नहीं कर सकता है। सड़क के बीचो बीच बेसहारा पशुओं के बैठने से शहर की यातायात व्यवस्था भी पूर्ण रूप से प्रभावित हो रही है। ऐसे में बेसहारा पशु हादसे की वजह बन रहे है।

एक बार चलाया अभियान : शहर में विचरण करने वाले पशुओं को हटाने व समस्या के समाधान को लेकर नये बोर्ड के गठन के दौरान अभियान चलाकर बेसहारा पशुओं को गौशालाओ में भिजवाया था, लेकिन अब रूचि नहीं दिखा रहे है। हालांकि गौशाला प्रबंधन भी बेसहारा पशुओं को लेने के लिये तैयार थे, लेकिन अब नगर परिषद उक्त मामले में रूचि नहीं दिखा रही है। जिसकी वजह से शहर में विचरण करने वाले पशुओं को गौशाला भिजवाने के लिए नगर परिषद न तो कोई व्यवस्था कर रही है और ना ही संसाधान मुहैया करवा रही है। ऐसे में लंबे समय से परिषद द्वारा कोई रूचि नहीं दिखाने से पशुओं की समस्या जस की तस बनी हुई है। मुख्य बाजार सहित सब्जी मंडी, बिश्नोई धर्मशाला, हाड़ेचा बस स्टेशन, पुरानी एसबीबीजे, रानीवाड़ा रोड़ पर आवश्यक कार्य से बाजार में सामान की खरीदारी के लिएआये नागरिको की भीड़ के बीच खड़े सांड दिन को आपस में भीड़ जाते है, जिसको देखकर लोग अपनी जान बचाकर भागने लगते है। इस दौरान भगदड़ की स्थिति भी बन जाती है।
नगर परिषद को बेसहारा पशुओं को शहर से बाहर शिफ्ट करने को लेकर कई बार लिखा गया, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। जिसका खामियाजा आमजन को भुगतना पड़ रहा है। प्रशासन को इस समस्या को गंभीरता से लेना चाहिए।
-हरिश त्रिवेदी, पूर्व पार्षद सांचौर